महाराष्ट्र: महिला डॉक्टर आत्महत्या मामले में पहली गिरफ्तारी, आरोपी प्रशांत बनकर अरेस्ट
महाराष्ट्र के सतारा जिले में 28 साल की एक महिला डॉक्टर की कथित आत्महत्या के मामले में पुलिस ने शनिवार (25 अक्तूबर) को एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है. फलटण पुलिस की एक टीम ने प्रशांत बनकर को पुणे से गिरफ्तार किया. डॉक्टर ने अपनी हथेली पर लिखे सुसाइड नोट में दो लोगों के नाम लिखे थे, जिनमें से एक प्रशांत बनकर था. बीड जिले की रहने वाली और एक सरकारी अस्पताल में तैनात डॉक्टर गुरुवार रात को सतारा जिले के फलटण के एक होटल के कमरे में फंदे से लटकी मिली थी. घटना पर क्या बोले पुलिस अधिकारी महाराष्ट्र पुलिस के स्पेशल इंस्पेक्टर जनरल सुनील फुलारी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि मामले में केस दर्ज कर दिया गया है. प्रारंभिक जांच में दो आरोपी सामने आए हैं, जिनमें एक PSI है. आरोपी PSI को तुरंत सस्पेंड कर दिया गया है और पुलिस की टीम जांच में जुटी है. टीम सभी आवश्यक सबूत एकत्र कर रही है और मामले की तह तक जाने की कोशिश कर रही है. मृत डॉक्टर के खिलाफ पहले भी दर्ज हुई थी शिकायत इस मामले में दूसरी कहानी भी सामने आई है. एनडीटीवी की रिपोर्ट के अनुसार, कुछ महीने पहले मृत डॉक्टर के खिलाफ स्थानीय पुलिस थाने के एक पुलिस इंस्पेक्टर ने शिकायत दर्ज करवाई थी. शिकायत में कहा गया कि पोस्टमार्टम या मेडिकल टेस्ट के दौरान डॉक्टर कभी कह देती थीं कि वह बिजी हैं या आरोपी को 'नॉट फिट फॉर अरेस्ट' रिपोर्ट देकर भेज देती थीं. इस कारण पुलिसकर्मियों को केस की जांच में दिक्कतें आती थीं. वहीं, डॉक्टर ने भी पुलिस अधिकारियों पर प्रेशर डालने और बदतमीजी करने का आरोप लगाया था. डॉक्टर की शिकायत सीनियर पुलिस अधिकारियों तक पहुंची थी. हालांकि, जिसके खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई गई थी, उसे फलटण ग्रामीण पुलिस थाने से ट्रांसफर कर दिया गया. मृत डॉक्टर हत्याकांड में जुटे फोरेंसिक एक्सपर्ट्स शुरुआती जांच में पुलिस यह बात समझने में असमर्थ है कि इतनी पढ़ी-लिखी डॉक्टर ने सुसाइड नोट अपने हाथ पर खुद लिखा. मामले की सच्चाई पता करने के लिए पुलिस हैंडराइटिंग और फोरेंसिक एक्सपर्ट्स की मदद ले रही है. जांच यह निर्धारित करने की कोशिश कर रही है कि क्या वास्तव में डॉक्टर ने अपने हाथ पर यह नोट लिखा था या किसी ने दबाव में ऐसा कराया. यह मामला न केवल सतारा-फलटण इलाके में बल्कि पूरे महाराष्ट्र में सुर्खियों में है. डॉक्टर की मौत और आरोपियों की गिरफ्तारी ने इलाके में सनसनी फैला दी है. पुलिस ने पूरे मामले की जांच को गोपनीय और गंभीर बनाए रखा है. इस मामले में दोषियों के खिलाफ होगी कठोर कार्रवाई आरोपी PSI और प्रशांत बनकर की गिरफ्तारी के बाद अब जांच टीम आगे सभी साक्ष्यों, वीडियो फुटेज और मेडिकल रिपोर्ट्स को इकट्ठा कर रही है. पुलिस का कहना है कि मामले में दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी और किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी. इस तरह, सतारा-फलटण महिला डॉक्टर आत्महत्या मामला अब गंभीर मोड़ पर पहुंच गया है. गिरफ्तारी और प्रारंभिक जांच ने कई नए पहलुओं को उजागर किया है. आगामी दिनों में पुलिस की फोरेंसिक और क्राइम ब्रांच की रिपोर्ट इस मामले की गुत्थी सुलझाने में अहम साबित होगी.
महाराष्ट्र के सतारा जिले में 28 साल की एक महिला डॉक्टर की कथित आत्महत्या के मामले में पुलिस ने शनिवार (25 अक्तूबर) को एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है. फलटण पुलिस की एक टीम ने प्रशांत बनकर को पुणे से गिरफ्तार किया.
डॉक्टर ने अपनी हथेली पर लिखे सुसाइड नोट में दो लोगों के नाम लिखे थे, जिनमें से एक प्रशांत बनकर था. बीड जिले की रहने वाली और एक सरकारी अस्पताल में तैनात डॉक्टर गुरुवार रात को सतारा जिले के फलटण के एक होटल के कमरे में फंदे से लटकी मिली थी.
घटना पर क्या बोले पुलिस अधिकारी
महाराष्ट्र पुलिस के स्पेशल इंस्पेक्टर जनरल सुनील फुलारी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि मामले में केस दर्ज कर दिया गया है. प्रारंभिक जांच में दो आरोपी सामने आए हैं, जिनमें एक PSI है. आरोपी PSI को तुरंत सस्पेंड कर दिया गया है और पुलिस की टीम जांच में जुटी है. टीम सभी आवश्यक सबूत एकत्र कर रही है और मामले की तह तक जाने की कोशिश कर रही है.
मृत डॉक्टर के खिलाफ पहले भी दर्ज हुई थी शिकायत
इस मामले में दूसरी कहानी भी सामने आई है. एनडीटीवी की रिपोर्ट के अनुसार, कुछ महीने पहले मृत डॉक्टर के खिलाफ स्थानीय पुलिस थाने के एक पुलिस इंस्पेक्टर ने शिकायत दर्ज करवाई थी. शिकायत में कहा गया कि पोस्टमार्टम या मेडिकल टेस्ट के दौरान डॉक्टर कभी कह देती थीं कि वह बिजी हैं या आरोपी को 'नॉट फिट फॉर अरेस्ट' रिपोर्ट देकर भेज देती थीं. इस कारण पुलिसकर्मियों को केस की जांच में दिक्कतें आती थीं.
वहीं, डॉक्टर ने भी पुलिस अधिकारियों पर प्रेशर डालने और बदतमीजी करने का आरोप लगाया था. डॉक्टर की शिकायत सीनियर पुलिस अधिकारियों तक पहुंची थी. हालांकि, जिसके खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई गई थी, उसे फलटण ग्रामीण पुलिस थाने से ट्रांसफर कर दिया गया.
मृत डॉक्टर हत्याकांड में जुटे फोरेंसिक एक्सपर्ट्स
शुरुआती जांच में पुलिस यह बात समझने में असमर्थ है कि इतनी पढ़ी-लिखी डॉक्टर ने सुसाइड नोट अपने हाथ पर खुद लिखा. मामले की सच्चाई पता करने के लिए पुलिस हैंडराइटिंग और फोरेंसिक एक्सपर्ट्स की मदद ले रही है. जांच यह निर्धारित करने की कोशिश कर रही है कि क्या वास्तव में डॉक्टर ने अपने हाथ पर यह नोट लिखा था या किसी ने दबाव में ऐसा कराया.
यह मामला न केवल सतारा-फलटण इलाके में बल्कि पूरे महाराष्ट्र में सुर्खियों में है. डॉक्टर की मौत और आरोपियों की गिरफ्तारी ने इलाके में सनसनी फैला दी है. पुलिस ने पूरे मामले की जांच को गोपनीय और गंभीर बनाए रखा है.
इस मामले में दोषियों के खिलाफ होगी कठोर कार्रवाई
आरोपी PSI और प्रशांत बनकर की गिरफ्तारी के बाद अब जांच टीम आगे सभी साक्ष्यों, वीडियो फुटेज और मेडिकल रिपोर्ट्स को इकट्ठा कर रही है. पुलिस का कहना है कि मामले में दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी और किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी.
इस तरह, सतारा-फलटण महिला डॉक्टर आत्महत्या मामला अब गंभीर मोड़ पर पहुंच गया है. गिरफ्तारी और प्रारंभिक जांच ने कई नए पहलुओं को उजागर किया है. आगामी दिनों में पुलिस की फोरेंसिक और क्राइम ब्रांच की रिपोर्ट इस मामले की गुत्थी सुलझाने में अहम साबित होगी.