Ponzi Scheme: पोंजी योजनाओं को रोकने के लिए महाराष्ट्र सरकार ने उठाए ये कदम

पोंजी योजनाएं और पिरामिड योजनाएं दोनों अंततः तब समाप्त हो जाती हैं जब नए निवेशकों की बाढ़ समाप्त हो जाती है और निवेश करने के लिए पर्याप्त पैसा नहीं होता है. उस योजनायें विफल हो जाती हैं और तब जाकर लोगों को ठगी का अहसास होता है. पोंजी स्कीम क्या है आप इसे ऐसे भी समझ सकते हैं कि पोंजी स्कीम एक निवेश धोखाधड़ी है जिसमें ग्राहकों को कम या बिना किसी जोखिम के बड़े लाभ का वादा किया जाता है. ऐसे केस में अक्सर देखा गया है कि ठग कम निवेश पर बड़े रिटर्न्स का भी वादा करते हैं.

Ponzi Scheme:  पोंजी योजनाओं को रोकने के लिए महाराष्ट्र सरकार ने उठाए ये कदम
Maharashtra government took these steps to stop Ponzi schemes

Devendra Fadnavis Statement: महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री और गृह मंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शुक्रवार को कहा कि राज्य में पोंजी योजनाओं के बढ़ते मामलों का अध्ययन करने के लिए एक अध्ययन समूह बनाया जाएगा और इसकी सिफारिशों पर काम किया जाएगा. वह गुरूवार से शुरू हुए राज्य विधान मंडल के शीतकालीन सत्र में प्रश्नकाल में बोल रहे थे. उन्होंने कहा, ‘‘राज्य सरकार तीन महीने तक इस मुद्दे पर अध्ययन के लिए एक समूह बनाएगी. समूह अपनी सिफारिशें दे देगा तो राज्य मौजूदा कानूनों में आवश्यक बदलाव करेगा. हम लोगों की गाढ़ी कमाई लूटे जाने की घटनाओं को कम करने के लिए नियमों को सख्त बनाएंगे.’’ इससे पहले रवींद्र वाइकर, अशोक चव्हाण और बालासाहेब थोराट समेत कुछ विधायकों ने सदन में इस मुद्दे को उठाया था.

क्या है पोंजी स्कीम?
पोंजी स्कीम एक धोखाधड़ी वाला निवेश घोटाला है जो निवेशकों को कम जोखिम के साथ उच्च दर पर रिटर्न का वादा करता है. पोंजी स्कीम एक धोखाधड़ी वाला निवेश घोटाला है जो बाद के निवेशकों से लिए गए पैसे से पहले के निवेशकों के लिए रिटर्न उत्पन्न करता है. यह एक पिरामिड योजना के समान है जिसमें दोनों पुराने निवेशकों को भुगतान करने के लिए नए निवेशकों के धन का उपयोग करने पर आधारित हैं.

पोंजी योजनाएं और पिरामिड योजनाएं दोनों अंततः तब समाप्त हो जाती हैं जब नए निवेशकों की बाढ़ समाप्त हो जाती है और निवेश करने के लिए पर्याप्त पैसा नहीं होता है. उस योजनायें विफल हो जाती हैं और तब जाकर लोगों को ठगी का अहसास होता है. पोंजी स्कीम क्या है आप इसे ऐसे भी समझ सकते हैं कि पोंजी स्कीम एक निवेश धोखाधड़ी है जिसमें ग्राहकों को कम या बिना किसी जोखिम के बड़े लाभ का वादा किया जाता है. ऐसे केस में अक्सर देखा गया है कि ठग कम निवेश पर बड़े रिटर्न्स का भी वादा करते हैं.